पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने अपने सरकारी आवास पर बीते दिन कैबिनेट बैठक बुलाई। इस बैठक में कैबिनेट ने कई अहम मुद्दों पर चर्चा की और राज्य के हित के लिए कई फैसले भी लिए हैं।
इस दौरान कैबिनेट ने खरीफ 2024-25 के लिए पंजाब कस्टम मिलिंग नीति को मंजूरी दे दी। इस नीति के तहत राज्य खरीद एजेंसियों की तरफ से खरीदे गए धान को कस्टम मिल्ड चावल में बदल करके केंद्रीय पूल में भेजा जाएगा। सीएम ऑफिस के प्रवक्ता ने कैबिनेट बैठक के फैसलों की जानकारी देते हुए इसके बारे में बताया है।
‘पंजाब कस्टम मिलिंग नीति’ को मिली मंजूरी
सीएम ऑफिस के प्रवक्ता ने बताया कि 1 अक्टूबर से खरीफ विपणन सीजन 2024-25 शुरू हो जाएगा, वहीं 30 नवंबर तक धान की खरीद की पूरी होगी। खरीफ विपणन सीजन 2024-25 के दौरान खरीदे गए धान को राज्य के मान्यता प्राप्त चावल मिलों में संग्रहित किया जाएगा।
इसके बाद ‘खरीफ 2024-25 के लिए पंजाब कस्टम मिलिंग नीति’ के प्रावधानों के तहत चावल मिलों को विभाग द्वारा समय पर मंडियों से ऑनलाइन जोड़ा जाएगा। आरओ योजना के तहत चावल मिलर्स को धान का आवंटन एक ऑनलाइन पोर्टल के जरिए ऑटोमेटिक होगा। इसके बाद चावल मिलों में उनकी मान्यता और राज्य एजेंसियों और चावल मिलर्स के बीच एग्जीक्युशन एर्गीमेंट के अनुसार संग्रहीत किया जाएगा।
इन प्रस्तावों को भी मिली मंजूरी
इसके अलावा कैबिनेट ने उद्योगपतियों के लिए पर्यावरण मंजूरी प्रसंस्करण शुल्क में 7 स्लैब शुल्क संरचना लागू करके कम किया गया। साथ ही 281 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से बांध पुनर्वास और सुधार परियोजना को मंजूरी दी गई।
इसके अलावा कैबिनेट ने सार्वजनिक भूमि पर अतिक्रमण हटाने और नियमितीकरण के लिए नीति तैयार करने की सहमति दी। इसके साथ ही उच्च शिक्षा और भाषा विभाग के 166 पदों को भरने, पुलिस विभाग के आशुलिपि संवर्ग के पुनर्गठन और शिल्प प्रशिक्षक आईटीआई की शैक्षिक योग्यता में संशोधन को भी मंजूरी दी गई।