दशकों से पंजाब के पानी की लूट करने के लिए भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र और हरियाणा सरकार पर तीखा हमला करते हुए आम आदमी पार्टी (आप) के प्रदेश प्रधान
दशकों से पंजाब के पानी की लूट करने के लिए भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र और हरियाणा सरकार पर तीखा हमला करते हुए आम आदमी पार्टी (आप) के प्रदेश प्रधान और पंजाब के कैबिनेट मंत्री अमन अरोड़ा ने सोमवार को पंजाब विधानसभा के विशेष सत्र के दौरान पंजाब के साथ पानी के मामले में हुए ऐतिहासिक अन्याय का पर्दाफाश किया। सदन को संबोधित करते हुए अमन अरोड़ा ने बताया कि कैसे पंजाब को 1955 से योजनाबद्ध ढंग से अपने जल संसाधनों से वंचित रखा जा रहा है। इस के बाद 1960 में इंडस जल संधि से पंजाब के 80% नदी जल को पाकिस्तान की ओर मोड़ दिया। उन्होंने बताया कि कैसे बाद के समझौतों-जैसे कि पंजाब पुनर्गठन अधिनियम (1966), त्रिपक्षीय समझौता (1981) और मनमाने ढंग से पानी के मूल्यांकन- ने पंजाब को उसके आधिकारिक हिस्से से भी वंचित कर दिया।
अमन अरोड़ा ने कहा कि पंजाब के साथ बार-बार धोखा किया गया है-चाहे केंद्र में कांग्रेस की सरकार हो या भाजपा की। उन्होंने हमेशा पंजाब के साथ सौतेला व्यवहार किया है, हमारा पानी और अनाज लेते रहे पर बदले में कुछ नहीं दिया। उन्होंने बताया कि पंजाब के रिपेरियन राज्य होने के बावजूद इसका पानी छीनकर हरियाणा और राजस्थान जैसे गैर-रिपेरियन राज्यों को गैर-कानूनी ढंग से पानी दिया गया, जो अंतर्राष्ट्रीय रिपेरियन कानूनों का उल्लंघन था। 1955 में, पंजाब का पानी मूल्यांकन 15.85 एम.ए.एफ. था, लेकिन 1981 तक, इसे फर्जी तौर पर बढ़ाकर 17.17 एम.ए.एफ. दिखा दिया गया ताकि हरियाणा और राजस्थान को और पानी दिया जा सके। अमन अरोड़ा ने शिरोमणि अकाली दल के नेतृत्व वाली सरकार द्वारा पंजाब के स्टैंड को कमजोर करने में निभाई भूमिका की भी कड़ी निंदा की।