हरियाणा में चुनाव के नतीजे क्या रहने वाले हैं, यह स्पष्ट रूप से मंगलवार को पता चल जाएगा, लेकिन मतदान के रुख और लोगों के रुझान को देखकर लग रहा है कि मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की कैबिनेट के आठ मंत्रियों का चुनाव इस बार बुरी तरह से फंसा हुआ है।
नायब सैनी की लाडवा विधानसभा सीट से अच्छे मार्जिन से चुनाव जीतने की संभावना है, लेकिन उनके मंत्रिमंडल के सिर्फ दो मंत्रियों पंडित मूलचंद शर्मा और महिपाल ढांडा को ही सेफ जोन में मानकर चला जा रहा है।
रानिया सीट पर कांटे की टक्कर
विधानसभा के निवर्तमान स्पीकर डॉ. ज्ञानचंद गुप्ता और निवर्तमान उपाध्यक्ष रणबीर गंगवा की सीट भी फंसी हुई है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी और पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल के मंत्रिमंडल में बिजली मंत्री रहे और भाजपा से बागी होकर विधानसभा चुनाव लड़ने वाले रणजीत चौटाला को रानिया सीट पर इनेलो प्रत्याशी अर्जुन चौटाला से तगड़ी टक्कर मिल रही है।
पंचकूला से कड़े मुकाबले में ज्ञानचंद गुप्त
विधानसभा के निवर्तमान स्पीकर डॉ. ज्ञानचंद गुप्ता पंचकूला में कड़े मुकाबले में फंसे हुए हैं। यहां कांग्रेस के पूर्व उप मुख्यमंत्री चंद्रमोहन बिश्नोई की भारी मतों जीत की संभावना जताई जा रही है। निवर्तमान डिप्टी स्पीकर रणबीर गंगवा हिसार के बरवाला विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस के रामनिवास घोड़ेला और इनेलो की संजना सातरोड़ से तिकोने मुकाबले में फंसे हुए हैं।
पूर्व वित्त मंत्री जेपी दलाल को लोहारू में कांग्रेस के राजबीर सिंह फरटिया से दलाल को कड़ी टक्कर मिल रही है। पूर्व स्वास्थ्य मंत्री डा. कमल गुप्ता की हिसार में हार तय मानी जा रही है।
यदि कमल गुप्ता चुनाव जीतते तो यह उनकी हैट-ट्रिक होती। भाजपा की बागी एवं निर्दलीय प्रत्याशी तथा पूर्व निकाय मंत्री सावित्री जिंदल ने कमल गुप्ता के सारे समीकरण ध्वस्त कर दिए हैं।
सावित्री जिंदल की राह आसान
कांग्रेस के रामनिवास राड़ा, नगर निगम के मेयर रहे गौतम सरदाना और भाजपा के तीसरे बागी तरुण जैन से भी गुप्ता को कड़ी चुनौती मिली है, जिसका लाभ सावित्री जिंदल को होता दिखाई दे रहा है।
कुरुक्षेत्र विधानसभा क्षेत्र में शहरी निकाय राज्य मंत्री सुभाष सुधा के सामने कांग्रेस उम्मीदवार अशोक अरोड़ा की जीत की राह आसान लग रही है। सुधा का हैट-ट्रिक का सपना अरोड़ा तोड़ने दिखाई दे रहे हैं।